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बड़े मार्केट क्रैश के दौरान RSI का व्यवहार – एक टाइम फ्रेम विश्लेषण
- March 5, 2025
- Posted by: Subhash Sahni
- Category: Technical Indicator Analysis

रिलेटिव स्ट्रेंथ इंडेक्स (RSI) एक महत्वपूर्ण तकनीकी संकेतक है जो ट्रेडर्स को यह समझने में मदद करता है कि कोई स्टॉक या इंडेक्स अधिक खरीदा गया है या अधिक बेचा गया है। जब बाजार में भारी गिरावट आती है, तो RSI संभावित बॉटम्स, ट्रेंड रिवर्सल और रिकवरी पॉइंट्स को पहचानने में अहम भूमिका निभाता है। आइए समझते हैं कि क्रैश के दौरान RSI कैसा व्यवहार करता है और विभिन्न टाइम फ्रेम में इसका क्या प्रभाव पड़ता है।
बाजार क्रैश के दौरान RSI कैसे प्रतिक्रिया करता है?
जब बाजार में तेज गिरावट आती है, तो RSI में निम्नलिखित पैटर्न देखे जा सकते हैं:
1. RSI ओवरसोल्ड ज़ोन (≤30 या कभी-कभी 15-20 तक गिर जाता है)
- भारी बिकवाली के कारण RSI ओवरसोल्ड जोन में चला जाता है।
- गंभीर मामलों में, RSI 15-20 तक गिर सकता है, जिससे अत्यधिक मंदी के संकेत मिलते हैं।
2. मल्टीपल ओवरसोल्ड सिग्नल (डबल या ट्रिपल बॉटम फॉर्मेशन)
- RSI कई बार एक ही स्तर के आसपास बाउंस कर सकता है, जिससे डबल या ट्रिपल बॉटम बनता है, जो संभावित रिवर्सल का संकेत हो सकता है।
3. बुलिश डाइवर्जेंस (कीमत नए निचले स्तर पर लेकिन RSI ऊंचे स्तर पर जाता है)
- जब कीमत लगातार गिर रही होती है, लेकिन RSI ऊपर की ओर बढ़ता है, तो यह संभावित ट्रेंड रिवर्सल का संकेत हो सकता है।
4. RSI की तेज रिकवरी (ओवरसोल्ड लेवल से ब्रेकआउट)
- जब बिकवाली की धारणा कम होती है और नई खरीदारी आती है, तो RSI 30 से ऊपर चला जाता है, जिससे संभावित रिकवरी या रिलीफ रैली का संकेत मिलता है।
विभिन्न टाइम फ्रेम में RSI का व्यवहार
1. इंट्राडे टाइम फ्रेम (5-मिनट, 15-मिनट, 1-घंटे के चार्ट)
- हाई वोलाटिलिटी के कारण RSI तेजी से ऊपर-नीचे होता है।
- शॉर्ट टाइम फ्रेम में फॉल्स सिग्नल आ सकते हैं, इसलिए इसे प्राइस एक्शन और वॉल्यूम एनालिसिस के साथ मिलाकर देखना चाहिए।
2. स्विंग ट्रेडिंग टाइम फ्रेम (4-घंटे, डेली चार्ट)
- बाजार क्रैश के दौरान डेली RSI ≤30 तक गिर सकता है और लंबे समय तक वहां रह सकता है।
- 4-घंटे का RSI संभावित बाउंस-बैक और री-एंट्री पॉइंट खोजने में मदद करता है।
- यदि 1-दिन और 4-घंटे का RSI दोनों अत्यधिक ओवरसोल्ड हैं, तो यह एक मजबूत स्विंग ट्रेडिंग अवसर हो सकता है।
3. लॉन्ग-टर्म इन्वेस्टमेंट टाइम फ्रेम (वीकली और मंथली RSI)
- वीकली RSI आमतौर पर 35-40 तक गिरता है और फिर रिकवरी शुरू करता है।
- मंथली RSI शायद ही कभी 30 से नीचे जाता है, सिवाय 2008 और 2020 जैसे चरम क्रैश के।
- जब मंथली RSI 40 से ऊपर निकलता है, तो आमतौर पर एक मजबूत बुल रैली शुरू होती है।
ऐतिहासिक मार्केट क्रैश और RSI का व्यवहार
2008 फाइनेंशियल क्राइसिस
- निफ्टी 50 ~60% गिरा (जनवरी 2008 – मार्च 2009)।
- डेली RSI 15-20 तक गिरा, फिर धीरे-धीरे रिकवर हुआ।
- वीकली RSI 30 से नीचे महीनों तक रहा, जिससे एक गहरा मंदी चरण कन्फर्म हुआ।
COVID-19 मार्केट क्रैश (मार्च 2020)
- निफ्टी 50 ~40% गिरा (जनवरी 2020 – मार्च 2020)।
- डेली RSI 17 तक गिरा, इसके बाद तेज V-आकार की रिकवरी हुई।
- वीकली RSI 30 तक गिरा, जिसने बॉटम को दर्शाया।
- मंथली RSI 35 के आसपास स्थिर हुआ, जिससे एक मजबूत बुल रन शुरू हुआ।
2022 मार्केट करेक्शन
- निफ्टी 50 ~18% गिरा (जनवरी 2022 – जून 2022)।
- डेली RSI 30-32 के आसपास बना रहा, लेकिन लंबे समय तक 30 से नीचे नहीं गया।
- वीकली RSI 40 के आसपास सपोर्ट पाया, जो जल्दी रिकवरी का संकेत था।
RSI और अन्य संकेतकों से बाजार के बॉटम की पहचान कैसे करें?
यदि बाजार ने बॉटम बना लिया है, तो निम्नलिखित संकेत देखें:
RSI 20-30 से नीचे और स्थिर हो रहा हो
बुलिश डाइवर्जेंस (कीमत गिर रही हो लेकिन RSI ऊपर जा रहा हो)
वोलाटिलिटी इंडेक्स (VIX) 30-40 से ऊपर हो – अत्यधिक घबराहट का संकेत
प्रमुख सपोर्ट स्तरों पर उच्च वॉल्यूम के साथ खरीदारी हो रही हो
डेली और वीकली RSI दोनों ओवरसोल्ड जोन में हों
निष्कर्ष: मार्केट क्रैश के दौरान RSI का व्यवहार समझें
बाजार गिरने पर RSI 30 से नीचे गिरना सामान्य है, और चरम मामलों में यह 15-20 तक गिर सकता है।
शॉर्ट-टर्म RSI (15-मिनट, 1-घंटा) फॉल्स सिग्नल दे सकता है, लेकिन 4-घंटे और डेली RSI स्विंग ट्रेडिंग के लिए बेहतर संकेत देते हैं।
वीकली RSI <30 एक गहरे मंदी चरण का संकेत देता है, जबकि मंथली RSI <40 लंबे समय तक बॉटम बनने का संकेत देता है।
जब RSI बुलिश डाइवर्जेंस बनाता है और वॉल्यूम बढ़ता है, तो एक मजबूत मार्केट रिवर्सल संभव होता है।
RSI को हमेशा अन्य संकेतकों जैसे कि VIX, प्राइस एक्शन और मूविंग एवरेज के साथ मिलाकर देखें ताकि अधिक सटीक निर्णय लिया जा सके।
यदि आप RSI के व्यवहार को गहराई से समझ लेते हैं, तो आप बड़े क्रैश के दौरान सही मौके पहचानकर बेहतर ट्रेडिंग और इन्वेस्टमेंट निर्णय ले सकते हैं।